सर्वोच्च रूप
मित्रता शुद्धतम प्रेम है.
ये प्रेम का सर्वोच्च रूप है
जहाँ कुछ भी नहीं माँगा जाता,
कोई शर्त नहीं होती,
जहां बस देने में आनंद आता है.
ये प्रेम का सर्वोच्च रूप है
जहाँ कुछ भी नहीं माँगा जाता,
कोई शर्त नहीं होती,
जहां बस देने में आनंद आता है.
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